Hindi Essay/Paragraph/Speech on “Johann Wolfgang von Goethe” , ”गेटे” Complete Hindi Essay for Class 10, Class 12 and Graduation and other classes.
गेटे
Johann Wolfgang von Goethe
जर्मनी : जर्मन साहित्य और संस्कृति के अग्रदूत
जन्म : 1749 मृत्यु 1832
जर्मन भाषा और साहित्य की सबसे बड़ी हस्ती जोहान बूल्फगैंगबान गेटे एक लेखक होने के साथ-साथ एक बड़े कलाकार, वैज्ञानिक एवं दार्शनिक भी थे। उनका जन्म 29 अगस्त, 1749 को फ्रैंकफुर्त (प. जर्मनी) के एक प्रख्यात परिवार में हुआ था। 16 वर्ष की उम्र में वह लीपजिग और बाद में स्ट्रॉसबर्ग (1770) गए, जहां उन्होंने विज्ञान का अध्ययन किया। यहीं उनकी हर्डर (1744-1803) से भेंट हुई। उनपर इस साहित्यकार का काफी प्रभाव पड़ा। वैसे बायरन, स्काट, मेजिनी, शेक्सपियर, गोल्डस्मिथ एवं कालिदास की कृतियों का भी उनपर व्यापक प्रभाव पड़ा। कालिदास की ‘शकुंतला’ ने उन्हें काफी प्रभावित किया था।
सन् 1786 में गेटे इटली की यात्रा पर गए। वहां उन्होंने काफी समय तक कला, साहित्य एवं विज्ञान की साधना की। वहां उन्होंने कई पेंटिंग और रेखाचित्र बनाए तथा आदिम पौधे के सिद्धांत की खोज की। रोम में उन्होंने एक प्रसिद्ध नाटक भी लिखा। वह जर्मनी के एक राजा के दरबार में अधिकारी पद पर भी रहे थे। सन् 1823 में उनका देहांत हुआ।
गेटे का व्यक्तिगत जीवन उतार-चढ़ावों से युक्त था। वह एक असफल प्रेमी थे। उन्होंने कई कठिनाइयां झेली। नेपोलियन ने जब गेटे को देखा था, तो वह भी उनसे बहुत प्रभावित हुआ था। गेटे सभी विषयों एवं क्षेत्रों पर व्यापक जानकारी रखते थे। वह साहित्य के माध्यम से विश्व की एकता का दर्शन करना चाहते थे। ‘फॉस्ट’ उनका महान ग्रंथ है। ‘गोट्ज’, ‘सोरोज ऑफ वेदर’ तथा ‘इफीगेनी ऑफ तौरिस’ उनकी अन्य प्रख्यात रचनाएं हैं।
गेटे के जीवन पर फ्रेच. अंग्रेजी व संस्कत साहित्य तथा रोमन एवं यूनानी सभ्यताओं का अच्छा प्रभाव था। इन सबसे उनका दर्शन निखरा था। गेटे को उनके अपने जीवन काल में ही नहीं अपितु उनकी मृत्यु के बाद भी बड़े सम्मान के साथ देखा जाता रहा है।