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Hindi Essay, Paragraph on “मानव जीवन में धर्म”, “Manav Jeevan mein Dharam” 150 words Complete Essay for Students of Class 9, 10 and 12 Exam.
मानव जीवन में धर्म
Manav Jeevan mein Dharam
धर्म का स्वरूप
धर्म और राजनीति
धर्म और विज्ञान
धर्म की परिभाषा है-धैर्य, क्षमा, पवित्रता, आत्मसंयम, सत्य, अक्रोध आदि सद्गुणों को धारण करना ही वास्तविक धर्म है। धर्म का उद्देश्य लोक कल्याण है। आज धर्म और राजनीति मिलकर धर्म के वास्तविक स्वरूप के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। धर्म के कटरवादी स्वरूप का प्रचार-प्रसार हो रहा है। पाकिस्तान इस्लाम के नाम पर आतंकवाद को शह देता है। फलतः पूरी दुनिया में निर्दोष लोगों की जान जा रही है। ‘धर्म युद्ध’ का नारा देकर भोली जनता को गुमराह किया जा रहा है। आज शिक्षित व्यक्ति धर्म को महत्त्व न देकर विज्ञान को महत्त्वपूर्ण मानते हैं, परंतु धर्माध शिक्षित विज्ञान को ही हथियार बनाने लगे हैं। वे जनकल्याण की तकनीकों का प्रयोग मानवविनाश में कर रहे हैं।