Home » Languages » Hindi (Sr. Secondary) » Hindi Essay, Paragraph, Speech on “Olympic Games”, ”ओलम्पिक खेल” Complete Hindi Anuched for Class 8, 9, 10, Class 12 and Graduation Classes

Hindi Essay, Paragraph, Speech on “Olympic Games”, ”ओलम्पिक खेल” Complete Hindi Anuched for Class 8, 9, 10, Class 12 and Graduation Classes

ओलम्पिक खेल

Olympic Games

 

विशाल स्तर पर खेलों की विश्व व्यापी प्रतियोगिताओं को ओलम्पिक कहा जाता है। इन प्रतियोगिताओं का नाम यूनान के एक स्थान के नाम पर पड़ा है। यूनान में प्राचीन काल में इसी स्थान पर बड़े पैमाने पर खेलों की प्रतियोगिताएँ हुआ करती थी। विश्व के सभी राष्ट्रों में खेल प्रतियोगिताओं को ओलम्पिक का नाम दिया गया है।

चार वर्ष में एक बार विश्व के किसी भी राष्ट्र में विश्व के चोटी के खिलाडी एकचित्र होते हैं। अनेकों खेल-कूदों की प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाता है। विजयी खिलडियों को प्रथम, द्वितीय अथवा तृतीय आने पर क्रमशः स्वर्ण, रजत एवं कांस्य पदक प्रदान किए जाते हैं। ये प्रतियोगिताएँ व्यक्तिगत खेलों में ही होती है। दलगत खेल इसकी परिधि में नहीं आते। ओलम्पिक खिलाड़ी अपनी विजय को व्यक्तिगत नहीं मानते। वे इसे राष्ट्र का गौरव मानते हैं।

ओलम्पिक की तैयारी के लिए राष्ट्रीय स्तर पर या महाद्वीपीय स्तर पर भी प्रति योगिताएँ रखी जाती है। कुछ वर्ष पूर्व भारत में “एशियाड” का आयोजन हुआ था। इसमें एशिया के सभी देशों ने भाग लिया था। इस प्रकार के आयोजनों से अभ्यास बढ़ता है। खिलाड़ी को अपनी स्थिति का पता चलता है।

ओलम्पिक खेलों में दौड़-कूद, तैरना, भाला फेकना, गोला फेकना, घुडसवारी करना, तीर चलाना, कुश्ती, मुक्के बाजी आदि प्रका खेलों में प्रतियोगिताओं की व्यवस्था की जाती है।

ओलम्पिक का संचालन एक सभी राष्ट्रों की संगठित समिति के द्वारा किया जाता है। यह समिति ओलम्पिक के लिए स्थान का चुनाव उसकी व्यवस्था उसके लिए आवश्यक धन संग्रह, लेखा जोखा रखने आदि के लिए उत्तरदायी होती है। ओलम्पिक के लिए विश्व के सभी राष्ट्रों को आमंत्रण दिया जाता है।

खेल के प्रथमदिन सभी राष्ट्रों के खिलाडी अपने देश की वेश भषा में अपने राष्ट्र धज के साथ परेड़ करते हैं। ओलम्पिका का वज फहराया जाता है। ओलम्पिक मशाल जलाई जाती है, जो खेलों की समाप्ति के दिन तक निरन्तर जलती रहती है। उद्घाटन समारोह समाप्त होते होते अनेकों श्वेत कबूतर उडाए जाते हैं, जो शान्ति का संदेश देते हैं।

सभी प्रतियोगियों को इस समारोह में सामूहिक शपथ ग्रहण करनी होती है। शपथ इस प्रकार है – “हम स्वस्थ्य प्रतियोगिता की भावना से ओलम्पिक खेलों में भाग लेते हैं।” खेलों की समाप्ति के दिन अगले ओलम्पिक के लिए चुने गए स्थान की घोषणा भी कर दी जाती है।

आधुनिक ओलम्पिक सन् 1896 ई. में फ्रांस में प्रारंभ हुए थे। जब से अब तक 19 राष्ट्रों में इनका आयोजन हो चुका है। विश्व युद्ध चलने के कारण 1916, 1940 और 1944 में ओलम्पिकों का आयोजन नहीं किया जा सका।

इन खेलों में जिस देश को जितने अधिक पदक मिलते हैं, उसका गौरव उतना ही बढ़ता है। अमेरिका के लास एंजिल्स में 1984 में 23 वाँ ओलम्पिक संपन्न हुआ। इसमें 140 राष्ट्रों ने भाग लिया। इसमें सबसे अधिक स्वर्ण पदक संयुक्त राष्ट्र अमेरिका को मिले। इसमें स्वर्ण पदक 54 थे। रजत और कांस्य मिलाकर उसने 176 पदक किए। दूसरे स्थान पर पश्चिमी जर्मनी तीसरे स्थान पर रोमानिया रहा। चीन, जापान, इंग्लैण्ड, इटली आदि देशों ने भी पर्याप्त पदक प्राप्त किए। भारत इसमें कोई पदक प्राप्त नहीं कर सका।

इस प्रकार की प्रतियोगिताओं में सम्मिलित होने से विश्व भर के देशों के खिलडियों का सम्पर्क बढ़ता है। वे एक दूसरे की तकनीक श्री सीख लेते हैं। खेल की भूमि एक बड़ा परिवार बन जाती है। यह विश्व बंधुत्व की भावना का विकास करने में सहायक बनता है।

About

The main objective of this website is to provide quality study material to all students (from 1st to 12th class of any board) irrespective of their background as our motto is “Education for Everyone”. It is also a very good platform for teachers who want to share their valuable knowledge.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *