Hindi Essay, Paragraph, Speech on “Ek Nurse Ki Atamakatha”, “एक नर्स की आत्मकथा ” Complete Essay for Class 9, 10, 12 Students.
एक नर्स की आत्मकथा
Ek Nurse Ki Atamakatha
निबंध नंबर :- 01
नर्स वास्तव में मानव सेवा की प्रतिमूर्ति होती है। यह किसी भी सरकारी या गैर सरकारी अस्पताल में किसी भी मरीज की मनोयोग से सेवा करते हुए देखी जा सकती है। नर्स का कार्य समर्पण भाव से परिपूर्ण होता है। नर्स के विचार में सभी मरीज सगे भाई-बहिन की तरह होते हैं। चाहे वे किसी भी धर्म, जाति अथवा क्षेत्र के क्यों न हों। वह अपनी मधुर मुसकान और आत्मीयतापूर्ण व्यवहार से मरीज की आधी परेशानी और कष्ट को हर लेती है।
नर्स सफेद रंग की पोशाक पहने रहती है। सिर पर सफेद रंग का विशेष टोपी भी रखे रहती है। वह अपने वरिष्ठ चिकित्सकों के आदेशों का अक्षरशः पालन करती है। वह निष्काम भाव से मरीजों की सेवा करती है। वैसे नर्स को वेतन बहुत कम मिलता है। फिर भी वह समय, कर्तव्य और अनुशासन का पाबंदी से पालन करती है और धन की कमी के बावजूद नर्स के होठों पर हमेशा मुसकराहट फैली रहती है।
जब नर्स की चर्चा हो और ‘मदर टेरेसा’ का नाम न आए ऐसा संभव ही नहीं। मदर टेरेसा का जन्म अल्बानीया में हुआ था। लेकिन उन्होंने अपना सारा जीवन भारत में रहकर मरीजों, गरीबों एवं अनाथों की सेवा में समर्पित कर दिया। उनकी सेवाओं के लिए उन्हें शांति का नोबेल पुरस्कार मिला। सारा संसार उनकी मानव-सेवा को सलाम करता है।
नर्स का कार्य सेवा, सहयोग, ईमानदारी, निष्पक्षता से परिपूर्ण होता है। उसके कार्य में अहंकार, पक्षपात, अहसयोग नफरत कभी भी परिलक्षित नहीं होती।
निबंध नंबर :- 02
एक नर्स की आत्मकथा
एक नर्स सफेद कमीज़ स्कर्ट, जुराबें और एक टोपी पहनती है। वह सदा साफ सुथरी रहती है। वह अपने मरीज़ों का ध्यान रखती है।
वह बहुत मेहनत करती है। वह चिकित्सक (डॉक्टर) की शल्यचिकित्सा कक्ष और अस्पताल वार्ड में सहायता करती है। इस तरह वह डॉक्टरों और मरीज़ों दोनों की सहायता करती है। ज्यादातर नसें दक्षिण भारत की होती हैं।
वह मरीज़ की हालत का ध्यान रखती है। वह सम्बन्धित डॉक्टर द्वारा लिखी हुई दवाओं का चार्ट बनाती है। वह उनका बिस्तर लगाती है, उन्हें दवा देती है और डॉक्टर द्वारा सही जाँच होने के लिए चिकित्सा रिपोर्ट बनाती है।
वह मेहनत और निस्वार्थ कार्य की सच्ची तस्वीर है। वह हमेशा अपने मरीज़ों को देख कर मुस्कुराती है। वह उन्हें प्यारी माँ की भांति प्यार करती है। उसे शिफ्ट में काम करना पड़ता है। कई बार वह दिन में काम करती है और कई बार रात के समय। वह हमेशा जागरुक और जागृत रहती है। डॉक्टर उस पर काफी निर्भर करते हैं। मरीज़ का इलाज पूरी तरह उस पर निर्भर करता है। उसे सारी रात जागना पड़ता है। वह कभी भी गुस्सा नहीं करती चाहे उसका मरीज़ उसका सहयोग न करे या उससे कठोर व्यवहार करे। वह अपने मरीज़ के इलाज की खातिर अपनी खुशियों और आराम का बलिदान दे देती है।
वह स्त्रीत्व या मातृत्व की सच्ची तस्वीर है। वह समाज के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण काम करती है। यह उसकी प्यार भरी सेवा है जो मरीज़ों को भयानक बीमारियों, चोटों और शल्यचिकित्सा से जल्दी ठीक होने में मदद करती है। वह समाज में बलिदानपूर्ण काम के लिए सम्मानित होती है।