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Archive by category "Languages" (Page 240)
बढ़ता हुआ प्रदूषण–एक समस्या Badhta hua Pradushan ek Samasya सृष्टि में पर्यावरण सामान्यतौर पर वायु, जल, मिट्टी, पौधों, वृक्षों तथा पशुओं द्वारा परस्पर संयोग से किया जाता है । ये पारस्परिक सन्तुलन को बनाए रखने के लिए एक दूसरे को प्रभावित भी करते हैं । सन्तुलित पर्यावरण में सभी तत्त्व एक निश्चित अनुपात में विद्यमान होते हैं, किन्तु पर्यावरण में पाए जाने वाले एक या अधिक तत्वों की मात्रा अपनी निश्चित...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
चलो पढ़ाएँ कुछ करके दिखाएँ Chalo Padhe Kuch Karke Dikhaye आज सारे देश में साक्षरता अभियान की होड़ लगी हुई है । सब के मन में एक ही बात बार-बार आती है जो व्यक्ति अनपढ़ हैं चलो उनको पढ़ाएँ और ऐसे लोगों के लिए कुछ कर दिखाएँ । यह अभियान और भी अधिक गतिशील तब से हो गया जब से सुदूर दक्षिण के केरल प्रान्त ने शत-प्रतिशत साक्षरता प्राप्त की...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
जब मैंने गलती से किसी दूसरी परीक्षा की तैयारी कर ली Jab Mene Galti se Kisi Dusri Pariksha ki Teyari kar li परीक्षा का समय नज़दीक आने पर हमारा मन बेचैन सा हो जाता है । इसी बेचैनी में हम अपनी परीक्षा पत्रिका (डेट-शीट) को देखना भी आवश्यक नहीं समझते और उसे देखे बिना परीक्षा की तैयारी शुरु कर देते हैं । यह बात मेरे साथ भी हुई । जब...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
मित्रों की प्राप्ति सम्पत्ति में और परीक्षा विपत्ति में Mitro ki Prapti Sampatti me aur Pariksha Vipatti me इस में कोई सन्देह नहीं कि मित्रों की प्राप्ति सम्पत्ति में होती है । जिस के पास अपना ही पेट भरने को कुछ न हो उसके पास कौन आता है परन्तु जिसके पास धन सम्पत्ति हो वहां लोग अपने आप चले आते हैं । सम्पत्ति में तो बेगाने भी अपने बन जाते...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
सबसे मीठा बोलिये Sabse Mitha Boliye सबसे मीठा बोलना चाहिए । मीठा बोलना, विनय रा नम्रता आदि सुशील व्यक्ति के लक्षण है । इनसे ही मनुष्य की शिष्टता प्रकट होती है और शिष्टता ही सज्जनता की विशिष्टता है । ‘शीलं हि सर्वस्व नरस्व भूषणम् । हिन्दी में कहावत भी है शील के बिना डील बेकार है । कास जी ने शीलशाली को सर्वविजयी कहा है-सर्वशीलवता जितम् (महाभारत) । वास्तव में...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
अच्छा स्वास्थ्य महावरदान Accha Swasthya Mahavardan कहते है जीवन में से अगर धन चला जाए तो समझो कुछ भी नहीं गया, परन्तु स्वास्थ्य चला जाए तो सब कुछ चला जाता है इस बात का अर्थ यह है कि जीवन में स्वास्थ्य का महत्त्व बहुत अधिक है । जीवन एक दौड़ है, इस दौड़ में वही जीतेगा जो शारीरिक दृष्टि से हृष्ट-पृष्ट होगा । स्वस्थ शरीर में स्वस्थ मन का निवास होता...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages3 Comments
आलस्य हमारा सबसे बड़ा शत्रु है Aalasya Hamara Sabse Bada Shatru Hai एक मनुष्य वे होते हैं जो अनेक असफलताओं और संघर्षों से जूझते हुए अपने कर्म पथ पर अग्रसर होते हैं । ऐसे व्यक्तियों को ही कर्मवीर की उपाधि से विभूषित किया जाता है । उनका सिद्धान्त होता है या तो कार्य में सिद्धि प्राप्त करूँगा अन्यथा अपना शरीर ही नष्ट कर दूँगा । इसके विपरीत दुसरी प्रकार की...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
गया समय फिर हाथ नहीं आता Gaya Samay Phir Haath Nahi Aata जीवन में हुई प्रत्येक हानि को किसी न किसी प्रकार पुनः प्राप्त किया जा सकता जैसे धन के नष्ट होने पर मेहनत करके उसे दुबारा प्राप्त किया जा सकता हे,स्वास्थ्य खराब होने पर दवाइयों के सेवन से पुनः स्वास्थ्य लाभ प्राप्त किया जासकता है । परन्तु जीवन के जो सनहरी और कीमती पल एक बार व्यतीत हो गए,...
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February 13, 2021 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment