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Posts tagged "Hindi Paragraph" (Page 60)
मेरे जन्मदिन की पार्टी Mere Janamdin Ki Party Essay No. 01 जन्मदिवस पार्टी यद्यपि पाश्चात्य सभ्यता की देन मानी जाती है। लेकिन किसी दूसरी सभ्यता का कोई ऐसा कार्य जिससे खुशी और प्रेम मिलता हो तथा उसके करने से आनंद आता हो, उसे करने में अपनी संस्कृति तथा सभ्यता की कोई हानि नहीं बल्कि लाभ होता है। अपने अंदर छिपे प्रेम, हर्ष-उल्लास के कारण जन्मदिवस पार्टी को सामान्यतः भारतीय संस्कृति में...
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February 15, 2018 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
वृक्षों का महत्व Importance of Trees Essay No. 01 प्रस्तावना- हमारे जीवन में वृक्षों का बहुत महत्व है। वृक्ष हमारे देश की प्राकृतिक सम्पदा हैं। इन्हें पेड़ों के झुण्ड, जंगल के रूप मंे जाना जाता है। वृक्ष हमें कच्ची साम्रगी-उधोगांे के लिए लकड़ी देते हैं। पेड़ बाढ़ों और भूमि के कटाव को रोकते हैं। इनसे आंखों को भाने वाली हरियाली मिलती है। पेड़ हमें अनेक प्रकार की कच्ची सामग्री, जैसे रबड़,...
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January 30, 2018 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages17 Comments
जल ही जीवन है Jal hi Jeevan hai निबंध नंबर – 01 क्षिति, जल, पावक, गगन और समीर ये पांच तत्व हमारे धर्मग्रंथों में मौलिक कहे गए हैं तथा हमारी शरीर रचना में इनकी समान रूप से भूमिका होती है। इनमें वायु और जल ये दो ऐसे तत्व हैं जिनके बिना हमारे जीवन की कल्पना एक क्षण भी नहीं की जा सकती। जीवों को जिस वस्तु की जरूरत जिस अनुपात में...
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September 14, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages2 Comments
डॉ. राजेंद्र प्रसाद Dr. Rajendra Prasad 3 Best Hindi Essay on ” Dr. Rajendra Prasad” Essay No. 2 डॉ. राजेंद्र प्रसाद स्वतंत्र भारत के प्रथम राष्ट्रपति थे। वह ‘जीरादेई के संत’ के नाम से प्रसिद्ध थे। उनका जन्म 3 दिसंबर, 1884 को बिहार के सारण जिले जीरादेई नामक ग्राम में हुआ था। उनके पिता श्री महादेव सहाय एक जमींदार थे। राजेंद्र प्रसाद अपने माता-पिता के पांचवें और सबसे छोटे पुत्र थे।...
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August 23, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
लोकतंत्र में चुनाव का महत्व Loktantra me Chunav Ka Mahatav या चुनाव Chunav निबंध नंबर :01 संसार में अनेक प्रकार की शासन-व्यवस्थांए प्रचलित हैं। उनमें से लोकतंत्र या जनतंत्र एक ऐसी शासन-व्यवस्था का नाम है, जिसमें जनता के हित के लिए, जनता द्वारा चुने गए प्रतिनिधि ही सारी व्यवस्था का संचालन किया करते हैं। इसी कारण जिन देशों में इस प्रकार की सरकारों की व्यवस्था है, राजनीतिक शब्दावली में उन्हें लोक-कल्याणकारी...
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July 5, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages4 Comments
प्रदूषण का प्रकोप Essay No. 01 प्रदूषण एक विश्वव्यापी समस्या है। इस समस्या में विश्व के सभी नगर त्रस्त हैं। विभिन्न कारणों से जल, वायु ध्वनि और मिट्टी का पारस्परिक संतुलन बिगडऩा ही प्रदूषण कहलाता है। पर्यावरण को संतुलित बनाए रखने वाले तत्वों में विकास उत्पन्न होने के कारण प्रदूषण का जन्म होता है। वास्तव में मानव द्वारा औद्योगिक वैज्ञानिक चाहत ही प्रदूषण बढ़ाने में कार्यरत है। नगरों में तेजी से...
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June 16, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages6 Comments
भारतीय किसान Bharatiya Kisan Best 5 Essays on ” Bharatiya Kisan” in Hindi Essay No. 1 भारतवर्ष एक कृषि प्रधान देश है | इस देश की 70% जनसंख्या गाँवों में रहती है तथा वह खेती करती है | ये लोग कृषक कहलाते है | यद्दपि ये कृषक भारतवर्ष की रीढ़ की हड्डी है तथापि वे निर्धन है | भारत के कृषक की दशा बहुत दयनीय है | वे कठिन परिश्रम करते...
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February 8, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), Languages8 Comments
भारत में बेरोजगारी Bharat me Berojgari अथवा बेरोजगारी की समस्या Berojgari ki Samasya 7 Best Hindi Essay on “Berojgari ki Samasya” निबंध नंबर :-01 समस्याओ के देश भारतवर्ष में जो एक बहुत बड़ी समस्या सभी को पीड़ित व आतंकित किए हुए है, वह है बेकारी की समस्या | भारत में यह समस्या द्वितीय महायुद्ध के समाप्त होते – होते बढने लगी थी और आज यह अपनी चरम सीमा पर विद्दमान...
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February 5, 2017 evirtualguru_ajaygourHindi (Sr. Secondary), LanguagesNo Comment
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